आज पूरा देश तेजी से डिजिटलीकरण की ओर बढ़ रहा है। ग्रामीण भारत भी इससे अछूता नहीं है। डिजिटल की पहुंच हर स्तर पर पहुंचाने की मुहिम जोर-शोर पर चल रही है। प्रशासन सभी जिम्मेदारियां और कार्यवाही जितना हो सकता है उतना डिजिटल प्लेटफॉर्म पर लाए जाने की कोशिश हो रहा है। डिजिटलीकरण, सिस्टम में पारदर्शिता लाता है और कर्मचारियों के साथ-साथ उपयोगकर्ता और जन सामान्य के लिए भी सरल उपाय सुझाता है।
ई-ग्राम स्वराज पोर्टल भी ऐसे ही पंचायतों में डिजिटलीकरण को मजबूत करने की दृष्टि से कार्य कर रहा है। पंचायती राज के लिए यह एक सरल कार्यप्रणाली आधारित प्रयोग किया गया है,जो कि ई पंचायत मिशन मोड प्रोजेक्ट का एक हिस्सा है।
ई- ग्राम स्वराज का उद्देश्य
ई ग्राम स्वराज, देश भर के पंचायती राज संस्थानों में बेहतर पारदर्शिता और ई-गवर्नेंस को मजबूत बनाने के उद्देश्य के साथ कार्य करता है।
यह स्थानीय सरकार और प्रत्येक पंचायती राज संस्थान को एक यूनिक कोड के माध्यम से जोड़ता है और अन्य पीईएस (panchayat enterprise Suite) के साथ कार्य करने की अनुमति देता है।
इसके अंतर्गत निम्नलिखित कोर मॉड्यूल आते हैं
-पंचायत प्रस्ताव
-योजना
-प्रगति रिपोर्टिंग
-अकाउंटिंग
-एसेट डायरेक्टरी
-संपत्तियों की जियो-टैगिंग के लिए सॉफ्ट मोबाइल ऐप
-रीयल-टाइम फाइल ट्रैकिंग
-ट्रेजरी-पीएफएमएस-ईजीएस एकीकरण
ई-ग्राम स्वराज मोबाइल ऐप
ई-ग्राम स्वराज पोर्टल के अलावा मोबाइल फोन एप्लिकेशन पंचायती राज संस्थानों (पीआरआई) द्वारा किए गए विभिन्न गतिविधियों की प्रगति को दर्शाता है। इसे भारत के नागरिकों के लिए अधिक पारदर्शिता और सूचना तक पहुंच बढ़ाने के लिए विकसित किया गया है। ई-ग्राम स्वराज मोबाइल एप्लिकेशन ई-ग्राम स्वराज वेब पोर्टल के विस्तार के रूप में कार्य करता है।
इस योजना के लिए मुख्य रूप से कुछ उपयोगकर्ता चिन्हित किए गए हैं और उन्हें लक्ष्य बनाया गया है, जैसे कि ग्रामीण स्थानीय निकाय जिसमें ग्राम पंचायत ब्लॉक पंचायत जिला पंचायत और समकक्ष स्तर के कार्यालय आते हैं। साथ ही साथ राज्य जनसंपर्क विभाग और नागरिक भी इनका लक्ष्य है।
मुख्य विशेषताएं
पंचायत प्रोफाइल: चुनाव विवरण, निर्वाचित सदस्यों आदि के साथ पंचायत प्रोफाइल को बनाए रखता है।
योजना: गतिविधियों, कार्य और योजना निर्माण की योजना को सुगम बनाता है।
प्रगति रिपोर्टिंग: अनुमोदित गतिविधियों की भौतिक और वित्तीय प्रगति को रिकॉर्ड करता है।
अकाउंटिंग: कार्य-आधारित लेखांकन और निगरानी की सुविधा प्रदान करता है।
ट्रेजरी-पीएफएमएस एकीकरण के साथ धन व्यय का।
एसेट डायरेक्टरी: सभी अचल और चल संपत्तियों को स्टोर करता है।ई-ग्राम स्वराज: डिजिटलीकरण के जरिए ग्रामीण भारत हो रहा सशक्त