देहरादून / माननीय राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली एवं राष्ट्रीय महिला आयोग, नई दिल्ली के तत्वाधान में माननीय उत्तराखण्ड राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण नैनीताल के निर्देशनुसार जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, देहरादून द्वारा आज स्थान नगर निगम, ऋषिकेश के स्वर्ण जयन्ती सभागार में Laws, Rights and Entitlement of Women at grass root level विषय पर विधिक जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया।
उक्त शिविर में श्री हर्ष यादव, सचिव/ वरिष्ठ सिविल जज, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण देहरादून द्वारा उपस्थित प्रतिभागियों को ” महिलाओं के संवैधानिक अधिकारों के साथ-साथ घरेलू हिंसा से महिलाओं का संरक्षण अधिनियम, 2005 के अर्न्तगत महिलाओं के अधिकार, दण्ड प्रक्रिया संहिता, 1973 के अर्न्तगत महिलाओं के अधिकार, एसिड अटैक सहित महिलाओं के विरूद्ध अपराधों से सम्बन्धित विधिक प्रावधानों, बालकों से सम्बन्धित विधियो, बाल विवाह से सम्बन्धित विधिक प्रावधानों के सम्बंध में जानकारी दी गयी। इसके अतिरिक्त “महिलाओं के हित की विभिन्न सरकारी योजनाओं” के सम्बंध एवं मा० राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली मा० उत्तराखण्ड राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, नैनीताल, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, देहरादून एवं तहसील विधिक सेवा समितियों के गठन, उद्देश्य एवं कार्यों के सम्बंध में भी जानकारी दी गयी तथा प्रतिभागियों के विधि से सम्बन्धित प्रश्नों के भी उत्तर दिये गये।
उपस्थित प्रतिभागियों को सुश्री उर्वशी रावत, न्यायिक मजिस्ट्रेट, ऋषिकेश द्वारा ” घरेलू हिंसा से महिलाओं का संरक्षण अधिनियम, 2005 के अर्न्तगत महिलाओं के विभिन्न अधिकारों के सम्बन्ध में विस्तार से जानकारी दी गई तथा इस अधिनियम के अर्न्तगत महिलायें किस प्रकार अनुतोष प्राप्त कर सकती हैं, इस सम्बन्ध में भी जानकारी दी गई। उपस्थित प्रतिभागियों को श्री श्रेय गुप्ता, अपर सिविल जज, ऋषिकेश / सचिव तहसील विधिक सेवा समिति, ऋषिकेश द्वारा गिरफ्तारी की प्रक्रिया, गिरफ्तारी के समय महिलायों के अधिकार एवं शिक्षा का अधिकार अधिनियम के सम्बन्ध में प्रतिभागियों को जागरूक किया गया।
उपस्थित प्रतिभागियों को श्री राहुल गोयल, नगर आयुक्त, ऋषिकेश द्वारा वर्तमान समय में पुरूष एवं महिलाओं के लिये कार्य के समान अवसरों के सम्बन्ध में जानकारी दी गई, महिलाओं के सामाजिक-राजनैतिक अधिकारों के सम्बन्ध में भी जानकारी दी गई तथा नगर निगम ऋषिकेश द्वारा विशेषतः महिलाओं के हित के लिये चलाये जा रहे सेल्फ हैल्प ग्रुपों / स्वयं सहायता समूहों के सम्बन्ध में भी जानकारी साझा की गई।
सुश्री मुधु नेगी, नामिका अधिवक्ता, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, देहरादून द्वारा उपस्थित महिलाओं को यह बताया की न्याय से वंचित महिलाएं न्याय पाने के लिए जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा नामित पैनल अधिवक्ताओं की सहायता से न्यायालय में वाद दायर कर न्याय प्राप्त कर सकती है, इसके अतिरिक्त पोक्सो अधिनियम, महिलाओं द्वारा परिवार न्यायालय से प्राप्त किये जा सकने वाले अनुतोष, वरिष्ठ नागरिकों के कल्याण सम्बंधित अधिनियम, संरक्षकत्व आदि विषयों पर भी उनके द्वारा प्रतिभागियों को जानकारी देकर जागरूक किया गया। इस शिविर / कार्यक्रम में उपस्थित पराविधिक कार्यकतांगण श्रीमती विमा नामदेव श्री सूरजमणी सिलस्वाल, श्रीमती मीनाक्षी कपरूवान, श्रीमती ममता रमोला, सुश्री सुनिता सिंह आदि द्वारा भी उपस्थित महिलाओं को पराविधिक कार्यकर्ताओं के कार्यों, अपने अनुभवों एवं विधिक सहायता के महत्व आदि की जानकारी दी गयी। अवगत कराया गया कि यदि किसी भी महिला / व्यक्ति को अपनी समस्या के निवारण हेतु अन्यथा निशुल्क विधिक सहायता हेतु आवश्यकता हो या उनकी पेंशन / राशनकार्ड / मृत्यु प्रमाण-पत्र आदि को बनाने में किसी भी प्रकार की समस्या उत्पन्न हो रही तो वह जिला विधिक सेवा प्राधिकरण देहरादून के दूरभाष नम्बर 0135-2520873 एवं इमेल- dlsa-deh-uk@nic.in पर सम्पर्क कर सकता है। 7. उक्त कार्यक्रम में लगभग 60 से 70 महिलायें लाभान्वित हुयी ।